लो मैंने बो दिया है
इश्क़ का बीज
कल जब इसमें फूल लगेंगे
वो किसी जाति मज़हब के नहीं होंगे
वो होंगे तेरी मेरी मुहब्बत के पाक ख़ुशनुमा फूल
तुम उन अक्षरों से मुहब्बत की नज़्म लिखना
मैं बूंदों संग मिल हर्फ़ हर्फ़ लिखूंगी इश्क़ के गीत
क्या ख़बर कोई चनाब फ़िर
लिख दे इतिहास
तेरे मेरे इश्क़ का नया सफ़्हा हो इज़ाद
आ बेख़ौफ़ इसे पी लें हम
आज़ अक्षर अक्षर जी लें हम...
हीर ...
इश्क़ का बीज
कल जब इसमें फूल लगेंगे
वो किसी जाति मज़हब के नहीं होंगे
वो होंगे तेरी मेरी मुहब्बत के पाक ख़ुशनुमा फूल
तुम उन अक्षरों से मुहब्बत की नज़्म लिखना
मैं बूंदों संग मिल हर्फ़ हर्फ़ लिखूंगी इश्क़ के गीत
क्या ख़बर कोई चनाब फ़िर
लिख दे इतिहास
तेरे मेरे इश्क़ का नया सफ़्हा हो इज़ाद
आ बेख़ौफ़ इसे पी लें हम
आज़ अक्षर अक्षर जी लें हम...
हीर ...
15 comments:
अद्भुत अभिव्यक्ति ,बहुत दिनों के बाद आपके ब्लॉग पर आया ,अब निरंतर आपकी कविताएं पढ़ने को मिलेगी , आभार
चिनाब जैसा इतिहास नहीं कुछ ऐसा जहाँ मुहब्बत जीत जाये .हमेशा की तरह दिल को छूने वाली नज़्म
आज़ अक्षर अक्षर जी लें हम...
बहुत सुन्दर
जो है आज है कल किसने देखा
अद्भुत पंक्तियाँ बहुत दिनो के बाद आपको लिखते देखकर खुशी हुई।
बहुत सुन्दर भावों को शब्दों में समेट कर रोचक शैली में प्रस्तुत करने का आपका ये अंदाज बहुत अच्छा लगा,
बहुत सुन्दर भाव समन्वय
आपकी इस प्रविष्टि् के लिंक की चर्चा कल बुधवार (05-07-2017) को "गोल-गोल है दुनिया सारी" (चर्चा अंक-2656) पर भी होगी।
--
सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है।
--
चर्चा मंच पर पूरी पोस्ट अक्सर नहीं दी जाती है बल्कि आपकी पोस्ट का लिंक या लिंक के साथ पोस्ट का महत्वपूर्ण अंश दिया जाता है।
जिससे कि पाठक उत्सुकता के साथ आपके ब्लॉग पर आपकी पूरी पोस्ट पढ़ने के लिए जाये।
हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'
फूल की एक पंखुड़ी हम भी लेंगे...
जय #हिन्दी_ब्लॉगिंग...
क्या कहूं? बस तीब बार पढना पडता है आपकी नज्म को, बहुत ही शानदार, बहुत शुभकामनाएं.
रामराम
कृपया कैप्चा हटा लीजिये प्लीज.
सादर
आपको पढना ही इश्क की छाँव में जाना है.
कैप्चा ???
नहीं समझी ☺
आपकी कवितायेँ बहुत सुकून देती हैं। एक अर्से बाद आपको पढ़ा। आषाढ़ के इस उमस भरे दिन में पुरवाई का एक झोंका छू गया हो जैसे।
बहुत अच्छा
बहुत खूब !
मंगलकामनाएं आपको !
बहुत दिन बाद आपके ब्लोग पर आई. आपकी कवितायें इश्क का सफ़रनामा है . बहुत अच्छी कविता .
I think this is an informative post and it is very useful and knowledgeable. therefore, I would like to thank you for the efforts you have made in writing this article
vbspu ba 2nd year result 2021 name wise
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