आज अमृता का जन्मदिन है ...वह अमृता जिसकी आत्मा का इक-इक अक्षर हीर के ज़िस्म में मुस्कुराता है ...जिसकी इक-इक सतर हीर की तन्हा रातों में संग रही है ... ये नज़्म मेरी उसी अमृता को समर्पित है ....
पर उससे पहले आपसे दो खुशखबरियाँ सांझा करना चाहूंगी ....
एक तो 'द सन्डे- इन्डियन ' विकली ( संपा. अरविन्द्र चौधरी ) में वर्ष २०११ की सर्वश्रेष्ठ महिला लेखिकाओं (लगभग ५०० प्रतिभागियों में )में हमारा नाम भी शुमार है ....
दुसरे आज के ही दिन 'हिंद-युग्म' ऑन लाइन मेरे काव्य-संकलन 'दर्द की महक' का विमोचन भी कर रहा है .....
यहाँ क्लिक कर आप हिंद-युग्म के विमोचन समारोह में भी पहुँच सकते हैं ....
अमृता के जन्म दिन पर .......
आज ...
ये कब्र कैसे खुल गई ...?
ये किसने मिट्टी का लेप कर
मुझे ज़िंदा कर दिया ....?
ये किस समुन्दर की प्यास थी
जो मिट्टी में दरार पड़ी ...?
दर्द और आंसुओं की इक आवाज़
उतर आई आज की तारीख में
इश्क की कोख में ज़ुहूर हुआ
रौशनी का इक कण
आकार ले उठा
आग की शक्ल में ...
खुदा की इक इबादत
अक्षरों की धड़कन बन गई
आज ये कब्र कैसे खुल गई .....?
ज़ुहूर- उत्पन्न
(इस बीच इस खुशखबरी के साथ एक दुखद समाचार भी मिला
हमारे ब्लोगर मित्र डॉ अमर कुमार जी अब नहीं रहे ... उन्हें विनम्र श्रद्धांजलि .....)
(
♥ हीर जी ♥
ReplyDelete*जन्मदिवस की हार्दिक बधाई और मंगलकामनाएं !*
*Happy Birth Day To You !*
जन्मदिन कि हार्दिक शुभकामनायें ...
ReplyDeleteवर्ष २०११ की सर्वश्रेष्ठ महिला लेखिका और काव्य-संकलन 'दर्द की महक' के लिए बहुत बहुत बधाई ...
अमृता जी को समर्पत पंक्तियाँ मन को छू गयीं ..
बधाई ...शुभकामनायें
ReplyDeleteबहुत बधाई और शुभकामनायें!
ReplyDeleteबधाई हो ..बधाई हो ...बधाई हो ......!
ReplyDeleteआपको जन्मदिन की हार्दिक शुभकामनायें .....!
ReplyDeleteबधाई हो... बहुत बहुत..
ReplyDeleteअमॄता जी के जन्म दिन, सर्वश्रेष्ठ महिला लेखिकाओं में शामिल होने और काव्य संकलन "दर्द की महक" के विमोचन पर हार्दिक बधाईयां और शुभकामनाएं. अति प्रसन्नता अनुभव हो रही है.
ReplyDeleteरामराम.
और खुशी खुशी में ये तो भूल ही गया कि तिहरी खुशी पर मिठाई तो बनती है.:)
ReplyDeleteरामराम.
जन्मदिन पर दो और खुशखबरियां ! आज तो मालामाल हो गए जी ।
ReplyDeleteसर्वश्रेष्ठ लेखिका तो आप हैं ही । और जन्मदिन भी अमृता जी के साथ साँझा । बल्ले बल्ले !
जन्मदिन की हार्दिक बधाई और शुभकामनायें हीर जी ।
काव्य संकलन के विमोचन पर भी बधाई ।
क्षणिका भी बहुत पसंद आई ।
जन्मदिन, वर्ष २०११ की सर्वश्रेष्ठ महिला लेखिकाओं में शुमार होने और 'हिंद-युग्म' ऑन लाइन मे काव्य-संकलन 'दर्द की महक' के विमोचन की त्रिवेणीबेला पर सादर बधाईया स्वीकार करें...
ReplyDeleteजन्म दिन की हार्दिक शुभकामनायें.......
ReplyDeleteआपको जन्मदिन की बहुत शुभकामनायें।
ReplyDeleteजन्मदिन की बहुत बहुत शुभकामनाएँ......
ReplyDeleteजन्मदिन की हार्दिक शुभकामनायें
ReplyDeleteबधाई बधाई बधाई.....जन्मदिवस की हार्दिक बधाई
ReplyDeleteआदरणीय हरकीरत जी जन्मदिन की हार्दिक बधाई और शुभकामनायें ।
ReplyDeleteआपको जन्मदिन की बहुत बहुत हार्दिक बधाइयाँ और शुभकामनाएं ... साथ साथ ईद मुबारक !
ReplyDeleteसभी खुशियाँ एक साथ आईं...
ReplyDeleteजन्म दिवस की हार्दिक शुभकामना और बधाई।
आज तो आपके ब्लॉग से खुशियों की बरसात हो रही है! कविता भी बहुत अच्छी है।
हीर और अमृता दोनों को ही पढना अमृत रसपान जैसा है . जन्म दिन ही हार्दिक शुभकामनाये . वर्ष की सर्वश्रेष्ठ महिला कवियत्री चुने जाने और काव्य संकलन का विमोचन पर मेरी बधाई स्वीकार करें
ReplyDeleteबधाई,बधाई बधाई ....!!!
ReplyDeleteजितना जी चाहे जियो ...
खुश और स्वस्थ रहो!
sudar ehsas
ReplyDeleteHappy Birth Day To You
बहुत बहुत बधाई आपको ....आपका जीवन यूँ ही महकता रहे खुशियों से ..
ReplyDeleteतद ही कवां आज सवेर दा भंगड़ा पाण दा जी क्यों करदा पया वे...
ReplyDeleteहीर जी नू जन्मदिन दियां लख लख बधाईयां...
जय हिंद...
आपकी मनोकामना पूर्ण हो .. जनमदिन पर हार्दिक बधाई और शुभकामनाएँ!!
ReplyDeleteवर्ष २०११ की सर्वश्रेष्ठ महिला लेखिका और काव्य-संकलन 'दर्द की महक' के लिए बहुत बहुत बधाई हो.
ReplyDeleteबहुत ही सुंदर और प्रभावशाली रचना...बधाई एवं हार्दिक शुभकामनायें
ReplyDeleteदर्द और आंसुओं की इक आवाज़
ReplyDeleteउतर आई आज की तारीख में
इश्क की कोख में ज़ुहूर हुआ
रौशनी का इक कण
आकार ले उठा
आग की शक्ल में ...
खुदा की इक इबादत
अक्षरों की धड़कन बन गई
हीर जी !
कई सारी खुशियों के साथ एक टीस भी ! सबसे पहले सर्वश्रेष्ठ लेखिका चुने जाने कि बधाई स्वीकार कीजिये| तदुपरांत जन्मदिन की हार्दिक शुभकामनाएं || और अब टीस की बात जिन प्रेम की देवी का आपने पहले जिक्र किया है ना हीर जी उनका नाम एक मीठा सा दर्द का पर्याय है मेरे लिए !!
हमेशा की तरह आपकी एक और अप्रतिम कविता ...और हमेशा की तरह मुझे आज फिर आपकी चौखट से कुछ मिला |
वर्ष २०११ की सर्वश्रेष्ठ महिला लेखिका
ReplyDeleteहमारी हार्दिक बधाई स्वीकार करे.
बहुत बधाई आपको ।
ReplyDeleteबधाईयां :)
ReplyDeletebahut bahut badhaai... naam aur sangrah ke liye... aur imroz ke hote amrita kahan jayengi
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ReplyDeleteरश्मि जी आपको भी बधाई
ReplyDeleteआपका नाम भी तो शुमार है वहाँ .....
एक साथ कई अवसर........ ढेर सारी शुभकामनाएं. प्रेम और पीड़ा का दूसरा नाम थीं अमृता जी. आपके रचनात्मक व्यक्तित्व में निसंदेह अमृता जी मौजूद हैं. प्रेम तो स्वयं महान है और पीड़ा व्यक्ति को महानता का रास्ता दिखाती है. आप उस रास्ते पर हैं, ईश्वर आपको अमृता जी जैसा ही महान बनाये.........
ReplyDeleteडॉ अमर कुमार जी को हार्दिक श्रद्धांजलि !
जन्मदिन की ढेरों बधाइयाँ...
ReplyDeleteरचना भी बहुत खूबसूरत है...हमेशा की तरह....
www.kumarkashish.blogspot.com
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ReplyDeleteहीर जी
ReplyDelete*जन्मदिवस की हार्दिक बधाई और मंगलकामनाएं !*
*Happy Birth Day To You !*
काव्य संकलन के शुभ विमोचन के लिए
शुभकामनाएं ...
सर्व श्रेष्ठ महिला लेखिका की उपाधि मिलने पर
बहुत बहुत बधाई .
बरसों,,,
बरसों बीत जाने पर भी
अमृता के दिलो-दिमाग़ का साहिर
कहाँ रोक पाया इमरोज़ को
अमृता को चाहते रहने से
इबादत करते रहने से
अमृता ,
अमृता ही रही
बस अपनी ही तरह की अमृता ...
और इमरोज़
अमृता हो गया ....
इमरोज़ के लिए भी मुबारकबाद !!
अमृता प्रीतम जी की स्मृति में इस सुंदर कविता के लिए बधाई। डॉ. अम्रर कुमार जी को विनम्र श्रद्धांजलि॥
ReplyDeletejanamdin ki hardik shubhkamnayen
ReplyDeleteKinka Janmdin aur kinki mrityu.. acci kriti aur acchhe rachiyeta humare rooh tak bas jate hain,, Aabhar...
ReplyDeleteजन्म दिन की हार्दिक शुभकामनाएं !
ReplyDeleteडाक्टर अमर जी को बिनम्र श्रधांजलि !
अमृता जी के जन्मदिन पर शानदार तोहफा है ये,..........अमर जी को हमारी भी श्रद्धाजलि
ReplyDeleteaapko our aapke pure priwaar ko meri trf se aapke jnmdin our beshumaar kamyabiyo pr bhut sari bdhaiya.
ReplyDeleteprmatma aapki sari ichchhaye puri kre .likhti rhiye , muskurati rhiye ,khush rhiye .
जन्मदिन पर अनेक शुभ कामनाएँ । आपकी लेखनी यूं ही परवान चढे । आप को बहुत बधाई हीर जी । दर्द की महक प्रकाशन पर और २०११ की सर्वश्रेष्ठ महिला लेखिका के सम्मान के लिये ।
ReplyDeleteअमृता जैसी लेखिकाओं का दर्द आप ही जान सकती हैं ।
ढेरों शुभकामनाएँ आपको
ReplyDeleteअमृता का जन्मदिन जिसकी आत्मा का इक-इक अक्षर हीर के ज़िस्म में मुस्कुराता है
ReplyDelete'द सन्डे- इन्डियन ' विकली २०११ की सर्वश्रेष्ठ महिला लेखिकाओं में हीर का नाम भी शुमार है ....
'हिंद-युग्म' ऑन लाइन मेरे काव्य-संकलन 'दर्द की महक' का विमोचन भी कर रहा है .....
बीजी ,
इन चारों उपलब्धियों के लिए आपको ढेरों मुबारकबाद
मुबारकों के ढेर में कहीं ना छुप जाना
ज़रा सा सिर निकालकर हमें भी दिख जाना
कुछ विलम्ब से ही सही- जन्म दिवस की शुभ-कामनायें. अमृता जी को भाव-भीनी पुष्पांजलि.
ReplyDeleteबहुत-बहुत बधाई के साथ शुभकामनाएं ।
ReplyDelete#
ReplyDelete# आदरणीय दराल साहब !
आपको हीरजी की पिछली पोस्ट पर मुझसे पूछे गए 'ऐंद्रजालिक' शब्द का अर्थ अब मिल गया न ?
आपको याद ही होगा - हीर जी ने कहा था -
शायद अगली बार कुछ तस्वीरें पेश करूँ ,
आप-हमको बहला दिया , हमें भ्रम में डाल दिया , सम्मोहित कर दिया , हम पर ज़ादू-इंद्रजाल कर दिया ,
… और इनकी नई पोस्ट में आपको तस्वीरें नज़र आईं ?
और इतने सारे - सौभाग्य से दिल ख़ुश करने के बहाने दे दिए कि किसी को पिछली पोस्ट में ख़ुद इनके अपनेआप किए वादे के बारे में पूछना तक याद नहीं रहा … :))
हीर जी ने उलझा दिया न सबको इंद्रजाल में !!
रब्ब से दुआ है हीर जी नित नई सफलताएं पाएं … , पग पग पर इन्हें कामयाबियां मिलें , … और आप-हम में अपनी ख़ुशियों का ख़ज़ाना ये ऐसे ही बांटती रहें … आमीन !
और हमारा क्या है !
हम तो इनके फ़न की ऐंद्रजालिक शक्ति के आगे यूं ही नत मस्तक हैं …
बहुत बहुत बधाई और शुभकामनाएं हीर जी !
राजेन्द्र भाई , आप तो वास्तव में स्वर्णकार हो ।
ReplyDeleteएन्द्रजालिक शक्ति आपकी टिप्पणियों में भी उतनी ही दिखती है जितनी हीर जी की रचनाओं में ।
कभी कभी दानिश जी भी एन्द्रजालिक टिप्पणी करते हैं ।:)
सर्द ग़मों की बर्फ से ढँकी उत्तुंग शिखर वाली सर्वश्रेष्ठ रचनाकारा जी ! बधाई देने वालों में मेरी भी हाजिरी लगा लीजिएगा. आपकी उपलब्धियों पर हम अपनी खुशी कैसे ज़ाहिर करें......! सोचना पडेगा ! तब तक कुछ मीठा हो जाय ? अच्छा चलिए मेरी तरफ से एक कप मीठी चाय बना के पी लेना. शक्कर के पैसे मेरे हिसाब में जोड़ दीजिएगा. अगली बार आऊँगा तब चुका दूंगा.
ReplyDeleteहाँ ! एक राज की बात मैं भी बता दूं...किसी से कहिएगा मत . अमृता और हीर के दिलों की धड़कनों में गज़ब की हार्मोनी है. क्या ? आपको भी सुनना है ..... आँखें बंद कीजिये फिर ध्यान से सुनिए ......लुब-डुब.....लुब-डुब.....लुब-डुब
राजेन्द्र जी ,
ReplyDeleteयह जान कर खुशी हुई कि किसी को तो इन्तजार था तस्वीरों का ...:))
दरअसल मुझे मिली ही नहीं ..कल शायद सी डी मिले तो अगली बार लगा दूंगी
आपका ये इंद्रजाल तो मैं भी नहीं समझ पाई थी ....
देर से ही सही पर अपनी छोटी बहन को जनम दिन की मुबारकवाद तो दे ही सकती हूँ ...चाहे वो भूल गई पर मुझे वो आज भी याद हें ...उसकी मुस्कुराती तस्वीर मेरे मानसपटल पर आज भी अंकित हें और रहेगी...सदा !
ReplyDeleteतिहरी खुशियाँ तुझे मुबारक हो ! हम तो युही जी लेंगे ..हमारा क्या ?
bahut bahut subhkamanyen.........
ReplyDeleteअनृता के जन्म दिन पर प्रस्तुत कविता का भाव अच्छा लगा । आपको बधाई । भगवान से विनती रहेगी कि आप नित्य नए प्रतिमानों को स्पर्श करती गहें । धन्यवाद ।
ReplyDeleteदेरी से ही सही, मेरी भी दोनों खुशियों के मौके पर शुभकामनाएँ स्वीकार करें ।
ReplyDeleteजन्मदिन की बहुत-बहुत बधाइयां एवं शुभकामनाएं।
ReplyDeleteबहुत बधाई और शुभकामनायें!
ReplyDeleteBahut khubsurat rachna bahut bahut badhai..
ReplyDeleteਲੋ ਦੱਸੋ! ਕਿੱਦਾਂ ਖੁਲ ਗਯੀ?
ReplyDeleteਹਰਕੀਰਤ ਜੀ,
ਸਤ ਸ੍ਰੀ ਅਕਾਲ!
ਸਾਡੇ ਲੇਵਲ ਦੇ ਬਿਯੋੰਡ ਹੈ!
--
ਮੈੰਗੋ ਸ਼ੇਕ!!!
हीर जी ..
ReplyDelete*जन्मदिवस की हार्दिक बधाई और मंगलकामनाएं !*
वर्ष २०११ की सर्वश्रेष्ठ महिला लेखिका और काव्य-संकलन 'दर्द की महक' के लिए बहुत बहुत बधाई ...
जन्मदिन कि हार्दिक शुभकामनायें.....
ReplyDeleteVery nice to see your post.
ReplyDeleteਜਨਮ ਦਿਨ ਦੀਆਂ ਬਹੁਤ ਬਹੁਤ ਮੁਬਾਰਕਾਂ
ReplyDelete....ਗੁਰਵਿੰਦਰ ਪਨੇਸਰ ਵਲੋਂ
जन्मदिवस की हार्दिक बधाई और मंगलकामनाएं !
ReplyDeleteवर्ष २०११ की सर्वश्रेष्ठ महिला लेखिका और काव्य-संकलन 'दर्द की महक' के लिए बहुत बहुत बधाई
देर से ही सही
ReplyDeleteबहुत बहुत शुभकामनाएं
हरकीरत जी ,
ReplyDeleteआपकी दोनों उपलब्धियों पर ढेरों बधाई.अमृता जी कि पंक्तियाँ दिल को छू गयीं
नीले सूट वाली अमृता की दीवानी से अनुरोध है ..के इस की विडियो रिकोर्डिंग भी डाले .....
ReplyDeleteनमस्ते हकीरत हीर" जी. बहुत दिनों बाद आप लोगों कि रचनाएं पढ़ते हुए लग रहा है जैसे अपने पुराने दोस्तों से मिल रहा हूँ.
ReplyDeleteजन्मदिन की हार्दिक शुभकामना. जिंदगी में कई ऐसे मौके आते हैं,जब ख़ुशी और गम एक साथ आते हैं. ऐसे लम्हों में जिंदगी एक द्वन्द में फँस कर रह जाती है..
kya aap facebook pe hain??? search me ajit dhankhar
ReplyDeletehappy birth day heer ji...
ReplyDeletekuchh late ho gayaa naa...?
सर्वश्रेठ लेखिका चुने जाने के लिए बधाई ...
ReplyDeleteअमृता जी के जन्मदिन पर लिखी आपकी यह कविता बहुत सुन्दर है !
bahat ji bahut hi vadhiya rachnava ne sariya diyan sariya ki kariye u p vich baith ke panjabiyat to lagda hai thida door ho gaye han
ReplyDeleteMain to itni der se aaya hoon ki badhai dene mein bhi sharmeendagi mahsoos ho rahi hai. Fir bhi Janm din ki badhai qubool karein.
ReplyDeleteYah kavita mujhe bahut pasand aayi...behad pasand aayi. Laga main hi kabr mein tha..lekin ise padhne ke liye hi nikal aaya...
janm diwas ki shubhkaamanyen...
ReplyDeletesunder rachna...
आपका पोस्ट अच्छा लगा । .मेरे नए पोस्ट पर आपका इंतजार रहेगा । धन्यवाद ।
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